Wednesday, July 30, 2014

गजल-२८८ 

एक दिस साओन रमनगर रमजान दोसर दिस
एक तरफ श्रीकृष्ण मुरारी आ चान दोसर दिस

भाइ सभकेँ ईद मुबारक ईदी मुबारक हो
नव बियाहलकेर चढल हो दिअमान दोसर दिस

हो सगर सुख शांति हियामे आ नेह पहिने सन
आपसी सद्भाव रहै आ नित ध्यान दोसर दिस

राग छोड़ू राम रहीमक छै एक यौ दुन्नू
पाक छै अल्लाह तँ ततबे भगवान दोसर दिस

संगमे राजीव रहै मिलि आवाम ऐ देशक
ई जगत हो एक तरफ हिंदुस्तान दोसर दिस

२१२ २२१ १२२ २२१ २२२ 
@ राजीव रंजन मिश्र

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